Pehli Mulaqat Aur Pyaar Ki Shuruat
यह कहानी है मेरी और मेरी पहली मोहब्बत की। उसका नाम था नीतू, और जब पहली बार हम मिले, तो ऐसा लगा जैसे एक दूसरे के लिए ही बने थे। नीतू की हँसी में एक खास बात थी, उसकी आँखों में दर्द और खुशी का संगम था। और मैं, जब भी उसे देखता, तो दिल बस उसकी ओर खिंचा चला जाता था।
हमारी मुलाकात एक दोस्त की पार्टी में हुई थी। वो मुस्कुराती हुई मेरी तरफ बढ़ी और मैंने उसकी आँखों में वो खास बात देखी, जो दिल को सुकून दे सकती थी। नीतू ने मेरी तरफ देखते हुए पूछा, "तुमने कभी मुझसे प्यार किया है?" मुझे लगा जैसे यह सवाल मुझे बिल्कुल तैयार नहीं था, लेकिन मैंने धीरे से कहा, "मैंने तो सिर्फ तुम्हारी मुस्कान से प्यार किया है।"
Rulane Wali Love Story Ki Kahani - Sachi Mohabbat Aur Dard
दिनों दिन हम एक-दूसरे के करीब आते गए। उसकी हँसी, उसकी बातें, सब कुछ इतना प्यारा था कि मैं उसके बिना जीने की सोच भी नहीं सकता था। फिर एक दिन नीतू ने मुझसे एक वादा लिया। उसने कहा, "हम हमेशा साथ रहेंगे, चाहे कुछ भी हो।" और मुझे उस वादे पर पूरा यकीन था, क्योंकि मैं जानता था कि उसकी नज़रों में वही प्यार था, जो मेरे दिल में था।
लेकिन किस्मत ने कुछ और ही चाहा था। एक दिन मुझे नीतू का फोन आया, और उसकी आवाज़ में वो दर्द था जिसे मैं कभी महसूस नहीं करना चाहता था। उसने कहा, "हम दोनों के बीच अब कोई रिश्ता नहीं है। मुझे अब तुमसे अलग होना है।"
Dil Tootne Ki Kahani - Rulane Wali Love Story
यह वो समय था जब मेरा दिल पूरी तरह से टूट गया। मैंने उसे समझाने की बहुत कोशिश की, लेकिन वो नहीं मानी। उसकी आवाज़ में एक अजीब सा अफसोस था, जो मेरे दिल को और ज़्यादा दुखी कर रहा था। नीतू ने कहा, "तुम मेरे लिए बहुत खास हो, लेकिन मुझे किसी और से शादी करनी है।"
मेरे पास शब्द नहीं थे, मैं समझ नहीं पा रहा था कि क्या बोलूं। मेरी ज़िंदगी में नीतू का एक बड़ा हिस्सा था, और अब वो हिस्सा मेरी ज़िंदगी से निकाल दिया गया था। वो दर्द, वो खामोशी, बस एक ठहरी हुई शाम की तरह सब कुछ खत्म हो गया था।
रुलाने वाली लव स्टोरी की Dard Bhari Ending
दोस्तों, यह कहानी किसी एक व्यक्ति की नहीं है, बल्कि उन सभी की है जो सच्चे प्यार में विश्वास रखते हैं और उसे खोने का दर्द महसूस करते हैं। नीतू और मेरा प्यार शायद कभी पूरा नहीं हो सका, लेकिन वो प्यार हमेशा मेरे दिल में रहेगा।
उसके बिना जीना इतना मुश्किल था कि मैंने खुद से पूछा, "क्या कभी दिल के टुकड़े जोड़ पाऊँगा?" समय ने जवाब दिया, "शायद नहीं," लेकिन फिर भी जीवन चलता रहा।
Kya Aapne Kabhi Aisi Rulane Wali Love Story Jani Hai?
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